उत्तरकाशी सुरंग में फंसे सभी 41 मज़दूर सुरक्षित बाहर निकाल लिए गए हैं. उत्तराखंड सरकार ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर इस बारे में जानकारी दी है. मौके पर मौजूद केंद्रीय मंत्री जनरल वीके सिंह ने कहा कि हमें जिस चीज की भी ज़रूरत पड़ी वह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में मुहैया करवाई. उन्होंने कहा कि इस मिशन में जितने साधन जुटाए गए हैं, इतने साधन किसी और ऑपरेशन के लिए नहीं जुटाए गए होंगे. इससे पहले उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि विगत 17 दिनों से चल रहे इस रेस्क्यू ऑपरेशन पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की पूरी तरह नजर बनाए हुए थे. पुष्कर सिंह धामी ने खुद इस बात की पुष्टि करते हुए कहा कि पीएम मोदी हर रोज इसके जुडी अपडेट ले रहे थे.
गौरतलब है कि पीएम मोदी ने सोमवार को तेलंगाना में एक कार्यक्रम के दौरान सुरंग में फंसे मजदूरों के लिए प्रार्थना करने का जिक्र किया था. इसके साथ ही पीएमओ की टीम भी मौके पर जायजा लेने पहुंची थी. दरअसल, तेलंगाना विधानसभा चुनाव के मद्देनजर एक जनसभा को संबोधित करते हुए पीएम नरेंद्र मोदी ने सोमवार कहा कि हम देवी-देवताओं से प्रार्थना कर रहे हैं, मानवता के कल्याण की बात कर रहे हैं तो हमें अपनी प्रार्थना में उन श्रमिक भाईयों को भी स्थान देना है, जो बीते करीब दो सप्ताह से उत्तराखंड की एक टनल में फंसे हुए हैं. बता दें कि चारधाम यात्रा मार्ग पर बन रही सुरंग का एक हिस्सा 12 नवंबर को ढह गया था. जिससे वहां काम कर रहे 41 श्रमिक फंस गए . ऐसे में इन मजदूरों को सुरंग से बाहर निकालने के लिए व्यापक स्तर पर बचाव अभियान चल रहा था. पीएम मोदी हर अपडेट पर नजर बनाये हुए थे . पीएम मोदी खुद उत्तराखंड के मुख्यमंत्री से समय समय पर फोन कर अपडेट ले रहे थे . उन्होंने सीएम से स्पष्ट शब्दों में कहा है कि सुरंग के अंदर फंसे श्रमिकों की सुरक्षा के साथ-साथ बाहर राहत कार्य में लगे लोगों की सुरक्षा का भी विशेष ध्यान रखा जाए. उन्होंने कहा कि अंदर फंसे श्रमिकों के परिवारों को किसी भी प्रकार की परेशानी नहीं होनी चाहिए. पीएम ने निर्देश दिया है कि मजदूरों के टनल से बाहर निकलते ही उन्हें प्राथमिक उपचार दिया जाए. अगर किसी मजदूर की हालत खराब लगती है तो उन्हें फौरन एयरलिफ्ट कर AIIMS ऋषिकेश भेजा जाए. यही वजह से कि मजदूरों के टनल से बाहर निकलने से पहले सारी तैयारियां पूरी कर ली गई थीं . गौरतलब है कि पिछले हफ्ते प्रधानमंत्री को श्रमिक बंधुओं से एंडोस्कोपिक फ़्लेक्सी कैमरे की मदद से हुई बातचीत एवं उनकी कुशलता की जानकारी दी गई थी. तब भी प्रधानमंत्री ने यह भी कहा कि सभी श्रमिक भाइयों को सुरक्षित निकालना हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है.