पुलवामा में शहीद हुए जवानों की विधवाओं ने राजस्थान पुलिस पर बड़े ही गंभीर आरोप लगाए हैं. पुलवामा शहीदों की विधवाओं ने दावा किया है कि राजस्थान पुलिस ने उनका अपहरण कर लिया था. पुलवामा शहीद की विधवा मधुबाला ने बताया उसे कोटा के पास कहीं रखा गया है. उसने गहलोत सरकार को चेतावनी देते हुए कहा, “अगर हमारा सम्मान नहीं कर सकते, तो हमारा अपमान भी मत करो. उसने कहा, “मुझे नहीं पता कि मैं कहां हूं, मेरा अपहरण कर लिया गया था. मैं कहीं पहाड़ियों के बीच में एक छोटे से अस्पताल में हूं.” उसने आगे कहा, “मैं बीमार नहीं हूं, मुझे जबरन अगवा कर लिया गया है और अस्पताल में भर्ती कराया गया है. वह तब तक चुप नहीं रहेगी जब तक वह जीवित है और अपनी आखिरी सांस तक लड़ती रहेगी. शहीदों की विधवाओं ने राजस्थान पुलिस पर हमले और मारपीट का आरोप लगाया है. अब उन्होंने दावा किया है कि राज्य सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने उनका अपहरण कर लिया था. वे कांग्रेस के नेतृत्व वाली राज्य सरकार के अधूरे वादों को लेकर विरोध कर रही थीं. बीते गुरुवार को वे सीएम अशोक गहलोत से मिलने उनके आवास की तरफ बढ़ीं, लेकिन पुलिस ने उन्हें रास्ते में ही रोक दिया था. शहीदों की विधवाओं का बीजेपी ने समर्थन किया है. बड़े स्तर पर बीजेपी नेताओं ने गिरफ्तारी भी दी है. वहीं कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने भी विधवाओं का समर्थन किया है. सचिन पायलट ने कहा कि एक या दो नौकरी की बात है तो बहुत बड़ा मसला नहीं है. उन्होंने कहा कि नियमों में संशोधन पहले भी हुए हैं और आगे भी हो सकते हैं. वीरांगनाओं को लेकर अगर राजनीति होती है तो इसका प्रदेश और देश में गलत संदेश जाएगा.
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जलजमाव से बचाने के लिए गांववासियों ने खुद करवाई नाली की खुदाई
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शहीदों की विधवाओं ने राजस्थान पुलिस पर लगाया हमले और मारपीट का आरोप
