केराकत। एक सौ बाइस दिनी जयगुरुदेव शाकाहार-सदाचार मद्यनिशेध आध्यात्मिक जनजागरण यात्रा के तैतालिसवें दिन विकास खण्ड केराकत के छितौना ग्राम में आयोजित सत्संग सभा में सन्त पंकज ने कहा मनुष्य शरीर किराये का मकान है जिसमें श्वासों का भण्डार भरा है। जिस दिन यह भण्डार खाली होगा मृत्यु हो जायेगी। जीव टकटकी लगा कर देखता है कि उसकी कोई मदद कर दे लेकिन समर्थ सन्त सत्गुरु के सिवाय अन्तिम समय में कोई सहायक नहीं होता। सन्त सत्गुरु अन्तर्यामी और सर्व समर्थ होते हैं। इसलिये जीवन को सफल बनाने के लिये सन्त सत्गुरु का मिलना जरूरी है। स्मरण रखना है कि आप ने जो सामान इक्_ा किया है वह सारा का सारा यहीं छूट जायेगा। हिन्दू लोग इसे जला कर खाक कर देंगे, मुसलमान व ईसाई इसे दफना देंगे। आप विचार कीजिये यह अनमोल मानव तन आप को आत्म कल्याण के लिये मिला था। जिसे आप नहीं कर सके। उन्होंने कहा वर्तमान में समाज में व्याप्त हिंसा, अपराध को रोकने के लिये अशुद्ध खान-पान को छोड़ना समय की मांग है। आप अपने बनायें मंदिर, मजिस्द को पाक-साफ रखते हैं। लेकिन परमात्मा के बनाये मनुश्य मन्दिर में मांस के लोथड़े और शराब के कतरे डालते हैं। इसकी सख्त सजा मिलेगी।
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पंचायत भवन पर वन विभाग द्वारा लगाया गया ग्रीन चौपाल
केराकत। स्थानीय क्षेत्र के अंतर्गत छितौना गांव स्थित पंचायत भवन पर ग्राम प्रधान ममता यादव की अध्यक्षता में वन विभाग की टीम द्वारा "ग्रीन...
मनुष्य शरीर किराये का मकान, जहाँ श्वासों का भण्डार भरा
